Product category :असैनिक रेडार
एस-बैंड डीडब्ल्यूआर Mk II प्रणाली, भा.इ.लि. द्वारा भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) से प्राप्त हुई प्रौद्योगकी के आधार पर विकसित की गई है। इसका विकास (IMD, ISRO, NAL एवं BEL को शामिल करते हुए) संपूर्ण देश में प्रभावी मौसम संबंधी पूर्वानुमान सुनिश्चित किए जाने के राष्ट्रीय प्रयासों के एक भाग के रूप में किया गया है।
यह रडार 500 किमी. तक लंबी परास में मौसम संबंधी निगरानी उपलब्ध कराता है। यह S बैंड में प्रचालित होता है और चक्रवात व अन्य विषम मौसमी अवस्थाओं के प्राचलों (परिमाण /गंभीरता) की पहचान और अनुमान लगाने में सक्षम है। यह रडार विषम मौसमी अवस्थाओं का पूर्वानुमान लगा सकता है जिससे जान माल की हानि के संबंध में ऐसी प्राकृतिक आपदा के प्रभाव को कम से कम करने के लिए आवश्यक निवारक कदम उठाये जा सकें।
वर्षा के संबंध में प्रभावी (सटीक) पूर्वानुमान के लिए इसमें ध्रुवणमितीय सक्षमता का समावेशन किया गया है।
संसक्त रडार एकल ध्रुवण विधि में मौसम विषयक तीन तथ्यों जैसे परावर्तकता (Z) माध्य वेग (V) और स्पेक्ट्रमी चौड़ाई (σ) के आधार पर मौसम का पूर्वानुमान लगाता है। द्वैध ध्रुवण विधि में रडार अतिरिक्त तथ्यों जैसे विभेदक परावर्तकता (Zdr), विभेदक फेस शिफ्ट (ⱷdp) और सह संबंध गुणांक (ρ) तथ्यों के आधार पर पूर्वानुमान लगाता है। इन आधारभूत तथ्यों का उपयोग करके मौसम विज्ञान संबंधी उड्डयन संबंधी अनुप्रयोजनों के वास्ते विभिन्न प्रमुख एवं गौण मौसम संबंधी आंकड़े सृजित किए जाते हैं।